Home Lifestyle Health & Fitness चिचिण्डा क्या है? जानिए इसके बेहतरीन फायदे

चिचिण्डा क्या है? जानिए इसके बेहतरीन फायदे

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About Snake Gourd in Hindi: जब महिलायें खाना बनाने के लिए रसोई में जाती हैं तो उनका एक ही सवाल होता है कि आज खाने में कौनसी सब्जी बनाए। अब चूँकि अधिकतर लोग कुछ गिनी चुनी सब्जी के पौष्टिक तत्वों से ही परिचित होते हैं इसलिए वह सब्जी में मुख्य रूप से गिलकी, करेला, भिंडी, लौकी, कद्दू आदि का ही इस्तेमाल करते हैं। लेकिन दोस्तों बता दें कि आज एक से बढ़कर एक गुणकारी सब्जियां मौजूद हैं जिनको हम नजअंदाज कर देते हैं। जी हाँ ऐसी ही एक सब्जी है चिचिंडा (Snakegourd)।

आज हम आपको चिचिंडा के कुछ ऐसे फायदे बताएँगे जिसके बाद आप भी इस सब्जी को अपने आहार में शामिल कर लेंगे। तो दोस्तों चिचिंडा के बारे में जानने के लिए यह लेख अंत तक जरूर पढ़िए।

 

चिचिण्डा क्या होता है | What is Snake Gourd in Hindi

चिचिण्डा ककड़ी के तरह दिखने वाली एक सब्जी है जिसकी आकृति सर्पिलाकार होती है इसलिए चिचिण्डा को स्नेक गॉर्ड यानी सांप लौकी भी कहा जाता है। बता दें कि चिचिण्डा देखने में केवल ककड़ी की तरह होता है लेकिन स्वाद में यह करेले की तरह कड़वा होता है। खास बात यह है कि इसकी सब्जी बनाने के बाद इसकी कड़वाहट कम हो जाती है।

चिचिण्डा की तासीर :

चिचिण्डा की तासीर ठंडी होती है जो कई तरह से स्वास्थ को लाभ पहुंचाने में मददगार होती है।

 

चिचिण्डा का पौधा कैसा होता है | How did Snake Gourd plant look like

snake gourd plant in hindi

यदि आपने अभी तक चिचिण्डा का पौधा नहीं देखा है तो आपको बता दें कि चिचिण्डा का पौधा लतादार होता है जो देखने में हूबहू लौकी के पौधे की तरह दिखाई देता है। चिचिण्डा स्‍क्वैश परिवार से संबंधित पौधा है जिसका वानस्पतिक नाम Trichosanthes cucumerina है।

चिचिण्डा के फूल बेहद खूबसूरत पंखुड़ियों में विभाजित सफ़ेद रंग के होते हैं एवं बीज नुकीले हरे व सफ़ेद रंग के होते हैं। चिचिण्डा के पत्तों की बात कि जाए तो बात दें चिचिण्डा के पत्ते 5 से 8 सेमी तक लबे होते हैं एवं पत्तों की बनावट गुर्दे की तरह होती है।

 

चिचिण्डा के प्रकार | Types of Snake Gourd In Hindi

चिचिण्डा एक ऐसी सब्जी है जो कई प्रकार की होती है तो आइये चिचिण्डा के विविध प्रकारों के बारे में जानते हैं।

1. इंडियन शॉर्ट
2. एक्‍सट्रॉ लोग डांसर
3. बेबी चिचिण्डा
4. हाइब्रिड स्‍नेकी
5. व्‍हाइट ग्‍लोरी

 

चिचिण्डा में मौजूद पौष्टिक तत्व | Nutrients of Snake Gourd In Hindi

चिचिंडा में मौजूद औषधीय गुण शरीर के अनेक रोगों की रोकथाम करने में मददगार होते हैं इसलिए आपको बता दें कि चिचिण्डा में मुख्य रूप से विटामिन सी, विटामिन ए, विटामिन बी, मैंगनीज, मैग्नीशियम, पोटेशियम, प्रोटीन, कैल्शियम, लोहा, फ्लेवोनोइड्स, कैरोटेनॉइड्स, फॉस्फोरस, सोडियम, फाइबर, कार्बोहाइड्रेट आदि तत्व प्रचुर मात्रा में पाए जाते हैं।

 

चिचिण्डा के विभिन्न नाम | Different Names of Snake Gourd

चिचिण्डा के कई प्रकारों की तरह ही इसके कई अलग-अलग तरह के नाम भी हैं। अतः चिचिंडा को अलग-अलग प्रांतों की भाषा के मुताबिक भिन्न-भिन्न नामों से जाना जाता है। आखिर चिचिण्डा को अन्य प्रांतो की भाषाओं में किस प्रकार के नामों से जाना जाता है आइये जानते हैं।

चिचिण्डा का हिंदी में नाम – चचेंडा

चिचिण्डा का संस्कृत में नाम – श्वेतराजि

चिचिण्डा का अंग्रजी में नाम – क्लब गोर्ड, स्नेक गॉर्ड

चिचिण्डा का तेलगु में नाम – पोटल काया

चिचिण्डा का तमिल में नाम – पुडाल

चिचिण्डा का गुजराती में नाम – पाडावली

पंजाबी में चिचिण्डा का नाम – गलारतोरी

मराठी में चिचिण्डा का नाम – पडावल

 

चिचिण्डा के विदेशी नाम :

दोस्तों चिचिण्डा एक प्रसिद्ध सब्जी मानी जाती है जिसका उपयोग न सिर्फ भारत देश में किया जाता है बल्कि अन्य देशों में भी इसका उपयोग किया जाता जाता है। इसलिए अब हम आपको चिचिण्डा के कुछ विदेशी नामों से परिचित करने वाले हैं।

स्‍पैनिश में चिचिण्डा का नाम – कालाबाजा डी सर्पिएंटे

लैटिन में चिचिण्डा का नाम – अंगुसे कुकुर्बिता

फ्रेंच में चिचिण्डा का नाम – गौरदे डे सर्प

चीन में चिचिण्डा का नाम – गुआ लू पाई

 

चिचिण्डा के फायदे | Benefits of Snake Gourd in Hindi

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शारीरिक स्वास्थ के लिए पर्याप्त ऊर्जा और पोषक तत्वों की आवश्यकता होती है। चिचिण्डा दुर्लब औषधि के रूप में एक सब्जी है जिसमें कई तरह के पोषक तत्व पाए जाते हैं जो शरीर को निरोगी बनाने में मदद करते हैं। इसलिए देर किये बगैर अब हम आपको बताने वाले हैं चिचिण्डा के गुणकारी फायदों के बारे में।

 

1. एसिडिटी की परेशानी से दिलाता है छुटकार

गैस पेट से सम्बंधित रोग होता है एवं यह रोग कई कारणों से होता है लेकिन पेट में गैस बनने का मुख्य कारण अपच को माना गया है। बता दें कि पेट की दूषित वायु अनेक प्रकार की परेशानियों को साथ लेकर आती है। गैस की वजह से कई रोगियों की ह्रदय की धड़कन बढ़ने लगती है, साँस लेने में दिक्कत होती है, सिरदर्द जैसी कई परेशानियों का सामना करना पड़ता है।

यदि आप भी गैस की परशानी से जूझ रहे हैं तो आप चिचिण्डा का सेवन कर सकते हैं क्यूंकि इसमें गैस से निजात दिलाने वाले कई तरह के तत्व पाए जाते हैं। इसके आलावा चिचिण्डा अल्सर रोगियों के पेट एवं सीने होने वाली जलन को कम करने में भी मददगार होता है।

 

2. बुखार कम करने में है मददगार

वायरल बुखार प्रत्येक व्यक्ति को कभी न कभी अवश्य होता है एवं कई लोग ऐसे भी होते हैं जिनको ऋतू परिवर्तन होने के कारण वायरल बुखार का सामना करना पड़ता है। कई लोग घरलू इलाज से ही वायरल बुखार को ठीक करने का प्रयत्न करते हैं तो कई लोग एलोपैथिक दवाइयों का इस्तेमाल करके इस समस्या से निजात पाते हैं।

यदि आप देशी तरीके से वायरल बुखार को ठीक करना चाहते हैं तो आपके लिए चिचिण्डा एक बेहतरीन दवा है। चिचिण्डा, हल्दी पाउडर, सौंठ, तुलसी का काढ़ा बनाकर सेवन करने से बुखार का तापमान कम हो जाता है। इसके आलावा आप चिचिण्डा जूस का भी सेवन कर सकते हैं।

 

3. मोटापा कम करने में है उपयोगी

दोस्तों मोटापा कम करने से पहले आपको यह जानना जरुरी है कि आखिर मोटापा बढ़ने का कारण क्या है क्योंकि इन कारणों को जानने के बाद इनसे बचाब करके मोटापे को बढ़ने से रोक सकते हैं एवं मोटापे को कम भी कर सकते हैं। यदि आप कारणों को जाने बगैर मोटापा कम करने का प्रयत्न करते हैं तो मोटापा कम करने के लिए कितना भी उपाय कर लें वह सब व्यर्थ ही रहेगा।

यदि आप अपने बड़े हुए मोटापा से परेशान हैं तो आप चिचिण्डा का इस्तेमाल कर सकते हैं। बता दें कि चिचिण्डा में भरपूर मात्रा में फाइबर पाया जाता है जो वजन को कम करने में फायदेमंद होता है।

 

4. ह्रदय को बनाता है स्वस्थ

आज के समय में सबसे अधिक होने वाले ह्रदय रोगों से सम्बंधित दो तरह की प्रमुख्य व्याधियां पाई जाती हैं। जिसमें से एक तो हृदय शूल है एवं दूसरी दिल का दौरा है जिसको आमतौर पर हार्ट अटैक के नाम से जाना जाता है। बता दें कि वर्तमान समय में कम उम्र के लोग भी इस रोग का शिकार हो रहे हैं।

चिचिण्डा में फाइबर, कैरोटीनॉयड और एस्कॉर्बिक एसिड पाया जाता है जो ह्रदय को स्वस्थ बनाने में लाभकारी होते हैं। ह्रदय को स्वस्थ बनाने के लिए आप चिचिण्डा जूस का इस्तेमाल कर सकते हैं।

 

5. कोलस्ट्रोल को करता है नियंत्रित

मांस, अंडा, घी, तेल, मक्खन आदि का अधिक मात्रा में सेवन करने से कोलस्ट्रोल का स्तर बढ़ जाता है। दोस्तों यदि कोलस्ट्रोल का स्तर हमारे शरीर में बढ़ गया है तो उसको नियंत्रित करने के लिए प्रकृति ने हमें कई प्रकार की ओषधियाँ प्रदान की हैं जिनकी मदद से हम बड़े हुए कोलस्ट्रोल को नियंत्रित कर सकते हैं।

जी हाँ दोस्तों ऐसी एक दुर्लभ औषधि है चिचिण्डा जिसकी मदद से आप बड़े हुए कोलस्ट्रोल को नियंत्रित कर सकते हैं। दरअसल चिचिण्डा में कोलस्ट्रोल को नियंत्रित करने वाले तत्व पाए जाते हैं। अतः यदि आप इस परेशानी से छुटकारा पाना चाहते हैं तो आप चिचिण्डा का सेवन कर सकते हैं।

 

6. पाचन तंत्र को बनाता है मजबूत

शरीर को फिट व स्वस्थ रखने के लिए शरीर की पाचन क्रिया का दुरुस्त होना बेहद आवश्यक है। ख़राब पाचन तंत्र एक नहीं बल्कि अनेक रोगों का जन्मदाता होता है। यदि आपका पाचन तंत्र कमजोर अथवा ख़राब है एवं आप पाचन तंत्र को ठीक व मजबूत बनाने के उपायों की खोज कर रहे हैं तो आपके लिए चिचिण्डा लाभकारी सब्जी है। पाचन तंत्र को मजबूत बनाने के लिए आप चिचिण्डा काढ़ा या जूस का उपयोग कर सकते हैं।

 

7. त्वचा संबंधी विकारों को दूर करने में है लाभकारी

दाद-खाज-खुजली, सोरोसिस, फोड़ा फुंसी, मुहासें व ऐसे ही अनेक प्रकार के त्वचा संबंधी रोग होते हैं जो व्यक्ति को शारीरिक रूप से परेशान करते हैं। त्वचा संबंधी ज्यादातर रोग त्वचा के बहरी हिस्से पर होते हैं जो कष्टदायक होने के साथ ही रोगी की सुंदरता को भी प्रभावित करते हैं। चूँकि त्वचा संबंधी रोग जितनी आसानी से त्वचा को अपना शिकार बनाते हैं उतने ही अधिक समय में यह त्वचा को मुक्त करते हैं।

अतः त्वचा संबंधी रोगों से छुटकारा पाना बेहद मुश्किल होता है। त्वचा संबंधी रोगों को ठीक करने के लिए आप चिचिण्डा व चिचिण्डा की पत्तियों का इस्तेमाल कर सकते हैं।

 

8. बालों के लिए है लाभदायक

बालों से सबंधित कई तरह की परेशानियों का सामना करने वाले लोगों के लिए चिचिण्डा लाभकारी औषधि है। बता दें कि बालों का झड़ना, बालों का टूटना, बालों का रुखा होना, बालों में रुसी का होना आज के समय की आम समस्याओं में से एक समस्या है एवं इस समस्या से प्रत्येक वर्ग जूझ रहा है। यदि आप भी बालों से सम्बंधित किसी समस्या से जूझ रहे हैं तो आप चिचिण्डा का उपयोग कर सकते हैं।

दरअसल चिचिण्डा में प्रोटीन, विटामिन ए, विटामिन सी, विटामिन बी भरपूर मात्रा में पाया जाता है जो बालों की तमाम तरह की परेशानियों से निजात दिलाने में मदगार होता है। बालों को कला घना चमकदार बनाने के लिए आप चिचिण्डा का इस्तेमाल जूस, हेयर पैक आधी के रूप में कर सकते हैं।

 

चिचिण्डा के अन्य लाभ | Some Other Benefits of Snake Gourd in Hindi

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1. चिचिण्डा में विटामिन ए पाया जाता है जो आँखों के लिए फायदेमंद होता है।

2. चिचिण्डा फाइबर युक्त आहार है जो लिवर को स्वस्थ बनाने में लाभकारी होता है।

3. चिचिण्डा में कई तरह के ऐसे योगिक मौजूद होते हैं जो शरीर को कैंसर से बचाने में फायदेमंद होते हैं।

4. चिचिण्डा में पानी की अधिकता पाई जाती है जो त्वचा को नमी प्रदान करने में फायदेमंद होता है।

5. कब्ज रोग से प्रभवित लोगों के लिए चिचिण्डा का इस्तेमाल करना फायदेमंद होता है।

6. अस्थमा रोग में चिचिण्डा का उपयोग फायदेमंद होता है।

 

चिचिण्डा का उपयोग | Uses of Snake Gourd in Hindi

snake gourd uses in hindi

दोस्तों यदि आप सोच रहे हैं कि चिचिण्डा का इस्तेमाल केवल सब्जी के रूप में ही किया जा सकता है तो ऐसा नहीं है। बता दें कि आप चिचिण्डा का इस्तेमाल कई तरह से कर सकते हैं। तो आइये जानते हैं चिचिण्डा का उपयोग किस प्रकार से किया जा सकता है।

1. चिचिण्डा का उपयोग सलाद के रूप में कर सकते हैं।

2. बेसन के पकोड़े के रूप में चिचिण्डा का उपयोग कर सकते हैं।

3. जूस के रूप में आप चिचिण्डा का इस्तेमाल कर सकते हैं।

4. काढ़ा बनाकर आप चिचिण्डा का उपयोग कर सकते हैं।

5. स्नेक के रूप में चिचिण्डा का उपयोग किया जा सकता है।

6. टमाटर कड़ी में चिचिण्डा का उपयोग किया जा सकता है।

7. बेसन का चीला बनाकर चिचिण्डा का इस्तेमाल कर सकते हैं।

8. पराठें के रूप में चिचिण्डा का इस्तेमाल कर सकरते हैं।

9. चिचिण्डा को फ्राई करके भेल में डालकर उपयोग किया जा सकता है।

10. फेस पैक अथवा हेयर पैक के रूप में चिचिण्डा का उपयोग किया जा सकता है।

 

चिचिण्डा से होने वाले नुकसान | Side Effects of Snake Gourd in Hindi

दोस्तों जहां एक तरफ चिचिण्डा के फायदे हैं तो वहीँ दूसरी और चिचिण्डा के नुकसान हैं। इसलिए चिचिण्डा के फायदों से अवगत होने के पश्चात् आइये चिचिण्डा से होने वाले नुकसानों के बारे में जानते हैं।

1. चिचिण्डा का अधिक सेवन करने से मेमोरी कमजोर हो सकती है।

2. एलर्जी से पीड़ित लोगों के लिए चिचिंडा का सेवन नुकसानदायक हो सकता है।

3. गर्भवती महिलाओं के लिए चिकत्सक का परमर्श लेकर चिचिण्डा का इस्तेमाल करना चाहिए।

4. चिचिण्डा का अधिक सेवन यौन शक्ति को कमजोर बना सकता है।

5. इसके अधिक सेवन से पेट दर्द और उलटी की समस्या उत्पन्न हो सकती है।

 

तो दोस्तों ये थी चिचिण्डा (Snake gourd in hindi) से जुड़ी कुछ जानकारी। हम आशा करते हैं की आप चिचिण्डा के समस्त फायदों और नुकसानों से परिचित हो गए होंगे। अगर आपको हमारी यह जानकारी पसंद आई हो तो इसे अपने दोस्तों के बीच शेयर जरूर करें और ऐसी ही जानकारी पड़ते रहने के लिए हमें सोशल मीडिया पर फॉलो करें।

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